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अक्तूबर 19, 2019 की पोस्ट दिखाई जा रही हैं

फिर तेरी याद

फिर तेरी याद आ गयी रात गुजरते-गुजरते, दिन ढल रही है जज़्बात  संग चलते-चलते, मर्म इतना सा है तू रहती पास हफ्ते-हफ्ते, मैं करता रहता  प्यार आहिस्ते-आहिस्ते, फिर तेरी याद आ गयी रात गुजरते-गुजरते ।। ----मिन्टू Pic- google से